दिल्ली-एनसीआर और देश के कई राज्यों में मानसून का असर लगातार बना हुआ है। पिछले कुछ दिनों से हो रही झमाझम बारिश ने जहां गर्मी से राहत दी है, वहीं कई जगहों पर जलभराव और ट्रैफिक जाम की समस्या भी देखने को मिल रही है। मौसम विभाग के ताज़ा अनुमान के अनुसार, दिल्ली समेत उत्तर भारत, पूर्वी भारत और दक्षिण भारत के कई राज्यों में अगले कुछ दिनों तक बारिश का दौर जारी रहेगा। साथ ही, पहाड़ी राज्यों में बाढ़ और भूस्खलन का खतरा भी बना हुआ है।
दिल्ली में पांच दिन तक बारिश की चेतावनी
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में पिछले दो दिनों से लगातार हो रही बारिश ने मौसम सुहाना बना दिया है। अधिकतम तापमान सामान्य से नीचे दर्ज किया जा रहा है और न्यूनतम तापमान भी कम है। हालांकि, भारी बारिश से सड़कों पर जलभराव और ट्रैफिक जाम की स्थिति बन गई है। भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने दिल्ली में अगले पांच दिनों तक भारी बारिश और तेज़ हवाओं का अलर्ट जारी किया है। इससे आम जनजीवन प्रभावित होने की संभावना है।
उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में अलर्ट
उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में मानसून के कारण हालात बिगड़ सकते हैं। अगले सात दिनों तक यहां भारी बारिश की संभावना जताई गई है। उत्तराखंड के कई जिलों में येलो अलर्ट जारी किया गया है, जबकि हिमाचल में भी भूस्खलन और बाढ़ की आशंका के चलते लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी गई है। पहाड़ी इलाकों में रहने वाले लोगों और पर्यटकों को विशेष सावधानी बरतने की ज़रूरत है।
राजस्थान के कई जिलों में भारी बारिश
पूर्वी राजस्थान के कई हिस्सों में 26 और 27 अगस्त को भारी बारिश का अनुमान है। मौसम विभाग ने राज्य के 20 जिलों में येलो अलर्ट और 4 जिलों में ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। लगातार हो रही बारिश के चलते यहां फसलों को नुकसान का खतरा है और ग्रामीण इलाकों में जलभराव से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो सकता है।
इसके अलावा, प्रशासन ने आपातकालीन टीमों को तैयार रहने के निर्देश दिए हैं और निचले इलाकों में रहने वाले लोगों को सुरक्षित स्थानों पर जाने की सलाह दी है। विशेषज्ञों का कहना है कि यदि बारिश इसी तरह जारी रही तो सड़क और रेल यातायात भी प्रभावित हो सकता है और सामान्य जीवन पर गहरा असर पड़ेगा।
पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में भी असर
26 और 27 अगस्त को पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्सों में भारी बारिश होने की संभावना है। मैदानी इलाकों में गरज और बिजली के साथ बारिश का दौर अगले तीन दिनों तक जारी रह सकता है। मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि इस दौरान निचले इलाकों में जलभराव और किसानों की फसलों पर नकारात्मक असर पड़ सकता है।
वहीं, तेज़ हवाओं और बिजली गिरने से जनजीवन प्रभावित होने की आशंका है। स्थानीय प्रशासन ने लोगों से अनावश्यक यात्रा से बचने और सावधानी बरतने की अपील की है।
पूर्वी भारत में बारिश का पूर्वानुमान
छत्तीसगढ़, ओडिशा, बिहार, झारखंड और मध्य प्रदेश में अगले पांच दिनों तक बारिश का सिलसिला जारी रहेगा। मौसम विभाग ने 27 और 29 अगस्त को इन राज्यों में तेज़ बारिश और आंधी-तूफान की संभावना जताई है। उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और सिक्किम में भी भारी बारिश की चेतावनी दी गई है।
इन इलाकों में लगातार हो रही बारिश से नदियों का जलस्तर बढ़ने का खतरा है और निचले इलाकों में बाढ़ की स्थिति बन सकती है। कृषि पर भी इसका असर पड़ सकता है, खासकर धान और मकई जैसी फसलों को नुकसान पहुंचने की आशंका है। प्रशासन ने लोगों को सतर्क रहने और सुरक्षित स्थानों पर शरण लेने की सलाह दी है।
पश्चिम भारत और गुजरात में लगातार बारिश
गुजरात राज्य में अगले सात दिनों तक भारी बारिश होने का अनुमान है। मौसम विशेषज्ञों का कहना है कि इस दौरान राज्य के दक्षिणी और तटीय जिलों में नदियों का जलस्तर बढ़ सकता है और निचले इलाकों में जलभराव की स्थिति बन सकती है।
इसके अलावा, कोंकण और गोवा, मध्य महाराष्ट्र के कई इलाकों में भी अगले एक हफ्ते तक मानसून का असर बना रहेगा, जिससे फसलों पर प्रभाव पड़ने और ग्रामीण सड़कों पर यातायात बाधित होने की आशंका है। लोगों को सावधानी बरतने और प्रशासन द्वारा जारी सलाह का पालन करने की हिदायत दी गई है।
पूर्वोत्तर भारत में मौसम की मार
असम, मेघालय, अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम और त्रिपुरा में 2 सितंबर तक लगातार बारिश हो सकती है। यहां गरज और बिजली के साथ तेज़ बारिश की संभावना है, जिससे बाढ़ जैसी स्थिति पैदा हो सकती है। मौसम विभाग ने लोगों को नदियों और नालों के पास जाने से मना किया है और प्रशासन ने राहत दलों को अलर्ट पर रखा है।
इन क्षेत्रों में लगातार हो रही बारिश से सड़क और रेल यातायात भी प्रभावित हो सकता है, जबकि कृषि और बुनियादी ढांचे को नुकसान पहुंचने की आशंका है।
दक्षिण भारत में भी बारिश का दौर
केरल, कर्नाटक, तमिलनाडु, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश और यनम में अगले तीन दिनों तक भारी बारिश होने की संभावना है। मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि इन इलाकों में कई जगहों पर बादल फटने जैसी स्थिति भी बन सकती है। तेज़ हवाओं के साथ-साथ बिजली गिरने की घटनाएं बढ़ सकती हैं, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली आपूर्ति बाधित होने और शहरी क्षेत्रों में यातायात प्रभावित होने की आशंका है। मछुआरों को समुद्र में न जाने की सलाह दी गई है और तटीय इलाकों में रहने वाले लोगों को भी सतर्क रहने के निर्देश दिए गए हैं।
निष्कर्ष
देश के लगभग सभी हिस्सों में मानसून का असर अगले एक हफ्ते तक जारी रहेगा। दिल्ली से लेकर दक्षिण भारत तक कई राज्यों में भारी बारिश और येलो/ऑरेंज अलर्ट की स्थिति बनी हुई है। लोगों को सतर्क रहने, अनावश्यक यात्रा से बचने और मौसम विभाग की ओर से जारी गाइडलाइन का पालन करने की सलाह दी गई है। आने वाले दिनों में मौसम के कारण जनजीवन पर व्यापक असर देखने को मिल सकता है।