भारत की टू-व्हीलर इंडस्ट्री दुनिया भर में अपनी अलग पहचान बना चुकी है। सस्ती कीमत, बेहतर माइलेज और मजबूत परफॉर्मेंस ने भारतीय बाइक्स को अंतरराष्ट्रीय बाजार में बेहद लोकप्रिय बना दिया है। खासकर बजाज ऑटो जैसी कंपनियों ने यह साबित किया है कि भारतीय ब्रांड्स भी वैश्विक स्तर पर अपनी जगह बना सकते हैं।
अगस्त 2025 का महीना बजाज ऑटो के लिए बेहद खास रहा, क्योंकि कंपनी के निर्यात (Export) ने नया रिकॉर्ड बनाया और विदेशी ग्राहकों के बीच भारतीय बाइक्स की डिमांड और भी बढ़ गई।
घरेलू बिक्री में सुस्ती, लेकिन कुल आंकड़े बढ़े
अगस्त 2025 में बजाज ऑटो ने कुल 4,17,000 से ज्यादा यूनिट्स की बिक्री की। यह आंकड़ा पिछले साल अगस्त की तुलना में करीब 5% ज्यादा है। हालांकि घरेलू स्तर पर कंपनी को झटका लगा और भारत में बिक्री में 8% की गिरावट देखी गई। टू-व्हीलर सेगमेंट में यह कमी और भी साफ नजर आई, जहां घरेलू बाजार में 12% तक की गिरावट दर्ज की गई।
विदेशी बाजार बना बड़ी ताकत
जहां घरेलू बाजार ने निराश किया, वहीं विदेशी बाजार ने कंपनी की कमाई का बड़ा सहारा बनकर उभरा। अगस्त 2025 में बजाज ऑटो ने विदेशों में 1,85,000 से ज्यादा यूनिट्स की बिक्री की, जो पिछले साल के मुकाबले लगभग 29% ज्यादा है।
इसमें खासतौर पर टू-व्हीलर निर्यात ने शानदार प्रदर्शन किया और 25% की बढ़ोतरी दर्ज की। यह दिखाता है कि भारत की बाइक्स न केवल किफायती हैं बल्कि क्वालिटी और भरोसे के मामले में भी विदेशी ग्राहकों की उम्मीदों पर खरी उतर रही हैं।
कमर्शियल व्हीकल सेगमेंट ने दिखाया दम
बजाज ऑटो का कमर्शियल व्हीकल सेगमेंट भी इस साल मजबूत रहा। अगस्त 2025 में घरेलू बिक्री 7% बढ़कर करीब 48,000 यूनिट्स तक पहुंच गई। वहीं निर्यात में 58% की बड़ी छलांग लगी और यह आंकड़ा 27,000 यूनिट्स तक पहुंच गया। कुल मिलाकर, कमर्शियल व्हीकल सेगमेंट की सेल 21% तक बढ़ी, जिसने कंपनी के कुल प्रदर्शन को और मजबूत किया।
अप्रैल से अगस्त तक का परफॉर्मेंस
वित्तीय वर्ष 2025 के शुरुआती पांच महीनों (अप्रैल-अगस्त) में बजाज ऑटो ने लगभग 18.95 लाख यूनिट्स बेचे। यह पिछले साल की तुलना में करीब 2% ज्यादा है। हालांकि घरेलू बाजार में 9% की गिरावट दर्ज की गई, लेकिन निर्यात में 21% की बढ़ोतरी ने इस कमी को संतुलित कर दिया।
इसका मतलब साफ है कि भारतीय कंपनियां अब केवल घरेलू बाजार पर निर्भर नहीं हैं, बल्कि ग्लोबल डिमांड उनकी असली ताकत बन चुकी है।
क्यों हैं भारतीय बाइक्स विदेशों में लोकप्रिय?
विदेशों में भारतीय बाइक्स की लोकप्रियता के पीछे कई वजहें हैं:
- कम कीमत – भारत में बनने वाली बाइक्स किफायती होती हैं, जिससे विदेशी ग्राहकों को सस्ते दाम पर अच्छी क्वालिटी मिलती है।
- माइलेज और परफॉर्मेंस – बजाज जैसी कंपनियां बेहतर माइलेज और दमदार इंजन वाली बाइक्स बनाने के लिए जानी जाती हैं।
- कम मेंटेनेंस – भारतीय टू-व्हीलर लंबे समय तक चलने वाले और कम खर्चीले साबित होते हैं।
- नए मॉडल और डिजाइन – बजाज लगातार नई तकनीक और आकर्षक डिजाइन वाली बाइक्स पेश करती रहती है।
घरेलू बाजार में गिरावट की वजह
हालांकि निर्यात ने कंपनी को सहारा दिया, लेकिन घरेलू बाजार में गिरावट की कुछ खास वजहें हैं:
- पेट्रोल और डीजल की बढ़ती कीमतें
- ग्रामीण इलाकों में कमज़ोर डिमांड
- महंगाई और EMI बोझ बढ़ना
- इलेक्ट्रिक व्हीकल्स की तरफ बढ़ता रुझान
ये कारण मिलकर पारंपरिक पेट्रोल बाइक्स की बिक्री को प्रभावित कर रहे हैं।
एक्सपोर्ट पर बढ़ती निर्भरता
बजाज ऑटो के आंकड़े यह बताते हैं कि आने वाले सालों में कंपनी का मुख्य फोकस एक्सपोर्ट पर रहेगा। अफ्रीका, एशिया और लैटिन अमेरिका जैसे देशों में भारतीय बाइक्स की डिमांड लगातार बढ़ रही है। बजाज अपनी रणनीति को इसी दिशा में मजबूत कर रहा है ताकि घरेलू सुस्ती का असर कंपनी पर ज्यादा न पड़े।
बजाज ऑटो का भविष्य
कंपनी आने वाले समय में इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर और हाई-परफॉर्मेंस बाइक्स पर भी फोकस बढ़ा रही है। ग्लोबल मार्केट्स में जहां पेट्रोल बाइक्स की मांग बनी हुई है, वहीं भारत में ईवी (Electric Vehicle) सेगमेंट तेजी से पांव पसार रहा है। ऐसे में बजाज की रणनीति दोतरफा होगी – एक तरफ परंपरागत बाइक्स का निर्यात और दूसरी ओर घरेलू बाजार के लिए ईवी इनोवेशन।
निष्कर्ष
अगस्त 2025 बजाज ऑटो के लिए इस बात का सबूत रहा कि भारतीय कंपनियां अब केवल भारत तक सीमित नहीं हैं, बल्कि दुनिया भर में अपनी जगह बना रही हैं। घरेलू बिक्री में गिरावट जरूर चिंता की बात है, लेकिन विदेशी बाजार से मिली सफलता यह दिखाती है कि भारतीय बाइक्स ग्लोबल ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री का अहम हिस्सा बन चुकी हैं।
आने वाले समय में बजाज ऑटो को घरेलू और अंतरराष्ट्रीय दोनों स्तरों पर नई रणनीतियों के साथ काम करना होगा ताकि वह इस विकास की रफ्तार बनाए रख सके।